Saturday 25 November 2017

२६/११ आज भी याद है वो दिन

२६/११/२००८
हाँ मुझे याद है आज का वो दिन,

जब मुंबई के लोग मौत के कहर से डर रहे थे,
लगता है आज मेरा आखिरी दिन है यह सोच सोच कर मर रहे थे।।
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हाँ याद है वो रात,

जब मुंबई की लोकल ट्रेन मे चढ़ने से लोग डर रहे थे,
बस पहोच जाऊ घर मेरे परिवार के पास यही दुआ भगवान् से कर रहे थे ।।
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हाँ याद है मुझे वो जंग,

जब मुंबई पुलिस कसाब और उसके साथियों से लड़ रहे थे,
कुछ हिन्दू आग के लपेटे में तो कुछ मुस्लिम कब्र में गाड़ रहे थे ।।
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हाँ याद है मुझे वो समय जब,

मैं खुद दादर स्टेशन पर रुका था और मेरे पापा बार बार कॉल कर रहे थे,
मेरा बेटा आ जायेगा ना घर बस भगवान से सवालो पर सवाल कर रहे थे।।
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सिर्फ़ एक मिनट उन शहीदों के नाम,
जो कुछ कर गये मुंबई वालो के नाम।।

~आशुतोष ज. दुबे

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